खबरों की दुनिया, हल्द्वानी
सोमवार की शाम जिले के मैदानी क्षेत्रों हल्द्वानी, लालकुआं और रामनगर में अचानक बिजली गुल हो जाने से दो लाख से अधिक उपभोक्ताओं को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। बिजली विभाग ने बताया कि यह आपातकालीन रोस्टिंग थी, जो बिजली उत्पादन में गिरावट के कारण की गई। जानकारी के अनुसार, सोमवार शाम करीब 6 बजे से इन क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति बाधित रही और चार घंटे से अधिक समय तक उपभोक्ता अंधेरे में रहे। उमस भरी गर्मी में बिजली की कटौती से लोग बेहाल हो उठे। विभागीय अधिकारियों ने बताया कि रात 11 बजे तक बिजली बहाल होने की संभावना है।
बिजली संकट की वजह लगातार हो रही बारिश बताई जा रही है। भारी वर्षा के कारण नदियों में सिल्ट (गाद) बढ़ गई है, जिससे उत्तराखंड जल विद्युत निगम की विद्युत उत्पादन क्षमता पर असर पड़ा है। परिणामस्वरूप राज्यभर में बिजली की मांग और आपूर्ति के बीच असंतुलन बना और नैनीताल जिले में रोस्टिंग करनी पड़ी। बिजली विभाग का कहना है कि स्थिति पर नजर रखी जा रही है और जैसे ही उत्पादन सामान्य होगा, आपूर्ति बहाल कर दी जाएगी। इस अचानक हुए बिजली संकट ने यह स्पष्ट कर दिया है कि मानसून के मौसम में जल विद्युत उत्पादन पर अत्यधिक निर्भरता कितनी चुनौतीपूर्ण हो सकती है। प्रशासन ने उपभोक्ताओं से संयम बरतने और अनावश्यक बिजली उपयोग से बचने की अपील की है। अधिशासी अभियंता, पिटकुल पंकज का कहना है कि भारी बारिश के कारण नदियों में सिल्ट बढ़ने से जल विद्युत उत्पादन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। उत्तराखंड जल विद्युत निगम के कई पावर हाउस निर्धारित क्षमता से काफी कम उत्पादन कर पा रहे हैं। इससे राज्य को मिलने वाली बिजली की आपूर्ति में भारी कमी आई है। इसी वजह से सोमवार को नैनीताल जिले के मैदानी क्षेत्रों में इमरजेंसी रोस्टिंग करनी पड़ी। हम स्थिति पर लगातार नजर रखे हुए हैं और जैसे ही उत्पादन सामान्य होगा, प्रभावित क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति बहाल कर दी जाएगी।








